youth absconded with the registry papers from the Narnaund Tehsil office
Narnaund Tehsil office से रजिस्ट्री के कागजात में गड़बड़ी पाए जाने पर कागजात लेकर भागने व कृषि भूमि पर लोन (Narnaund Agriculture Loan Fraud ) लेने का प्रयास करने का मामला सामने आया है। पुलिस ने तहसील कार्यालय की शिकायत के आधार पर मामला दर्ज करके जांच शुरू कर दी है। फिलहाल आरोपित पुलिस की गिरफ्त से बाहर है। ( Narnaund News Today)
तहसील कार्यालय से प्राप्त शिकायत में बताया गया कि 30 मई को जींद के श्याम नगर काॅलोनी निवासी रिंकू ने तहसील कार्यालय नारनौंद में Axis Bank Jind से लोन लेने के लिए कृशि भूमि के कागजात पेश किए। उसने तहसील कार्यालय में कर्मचारियों को दलील दी कि उसके पिता जयभगवान काफी बीमार हैं और उनका ईलाज करवाने के लिए उसे लाखों रूपयों का ऋण लेना पड़ रहा है। उसके द्वारा तहसील कार्यालय में जो कागजात दिए गए थे वो राजथल गांव की जमीन के कागजात थे। ( Narnaund tehsil registry fraud )
शिकायत में बताया गया कि रिंकू इस जमीन पर 18 लाख 65 हजार 900 रूपए का ऋण लेने की एवज से रजिस्ट्री करवाने के लिए आया था। उसकी मुसीबत को ध्यान में रखते हुए तहसील कार्यालय नारनौंद के रजिस्ट्री क्लर्क सुषील कुमार व अन्य कर्मचारियों ने उसके कार्य को जल्दी जल्दी निपटा दिया। जब वो जमीन के कागजातों में कंप्युटर से लोन अंकित करवाने कंप्युटर ओपरेटर राकेश षर्मा के पास पहुंचा तो उसने कहा कि कुछ समय प्रतीक्षा कर ले। जब उसने रिकार्ड चैक किया तो वो दंग रह गया। ( Narnaund tehsil computer operator)
तहसील कार्यालय नारनौंद की तरफ से पुलिस को दी गई शिकायत :
पंजीकरण लिपिक द्वारा सलंग्न राजस्व रिकार्ड की जांच की गई। जिसके उपरांत उक्त रिंकू के मौखिक ब्यान लिए गए कि वह गांव राजथल में तथाकथित अपनी कृषि भूमि पर Axis Bank main Branch Jind से 18,65,900 रु० का ऋण लेने हेतू एक्सिस बैंक कर्मी के साथ तहसील कार्यालय नारनौंद में आया है। तदोपरान्त उक्त रिंकू की बैंक कर्मी एवं दो गवाहान के साथ फोटो (साथ सलंग्न) ली गई। उक्त रिंकू द्वारा पंजिकरण लिपिक सुशील कुमार को बताया कि उसके पिताजी गंभीर बीमारी से जूझ रहे है, जिसके इलाज हेतू ही ही आकस्मिक ऋण की आवश्यकता है।
आगामी दो कार्यदिवस तहसील कार्यालय का अवकाश होने के कारण व बैंक का मई महीने का अन्तिम सप्ताह होने के कारण ऋण मिलने में देरी से उसके पिताजी की हालत खराब हो सकती है और पंजिकरण लिपिक से दस्तावेज सब-रजिस्ट्रार एवं उप तहसीलदार नारनौंद से हस्ताक्षर करवाकर दस्ती वापिस करने का आग्रह किया। उसके आग्रह पर सहानुभूतिपूर्वक विचार करते हुए उक्त दस्तावेज पंजिकरण लिपिक द्वारा मन शिकायतकर्ता एवं सब-रजिस्ट्रार एवं उप तहसीलदार नारनौंद से हस्ताक्षर करवाकर उक्त रिंकू को राजस्व रिकार्ड में ऋण दर्ज करवाने हेतू दे दे दिया गया।
रिंकू द्वारा उक्त दस्तावेज की एक प्रति कम्पयूटर आप्रेटर श्री राकेश शर्मा को देकर ऋण का इन्द्राज जमाबंदी में करने बारे कहा गया। जिस पर राकेश शर्मा कम्पयूटर आप्रेटर द्वारा उक्त रिंकू को बतलाया गया कि आपके ऋण इन्द्राज में समय लगेगा और कुछ समय के लिए प्रतिक्षा करने के लिए कहा गया। जब उक्त आप्रेटर द्वारा ऑनलाईन जमांबन्दी एवं इन्तकाल का अवलोकन किया गया तो उसने पाया कि खेवट न० 270 गांव राजथल में रिंकू पुत्र जयभगवान नामक कोई भी व्यक्ति मालिक नहीं है।
तब उसने इन्तकाल न. 2523 भी ऑनलाईन प्रिंट निकाल कर देखा कि उक्त भूमि सोनू, अमित पुत्रान लीलाराम पुत्र शंकर के नाम बतौर मालिक दर्ज है। इस घटना की सूचना आप्रेटर द्वारा तुरन्त पंजिकरण लिपिक सुशील कुमार को दी गई, जिस पर सज्ञांन लेते हुए पंजिकरण लिपिक द्वारा उक्त रिंकू की तलाश तहसील कार्यालय में की गई परन्तु मौका पर रिकू हाजिर नही मिला, जिसके बाद पंजिकरण लिपिक द्वारा पाया गया कि उक्त रिंकू और ऋण लेने के लिए प्रस्तुत दस्तावेज के साथ सलंग्न जाली इन्तकाल 2523 (जो कि रिंकू द्वारा ही प्रस्तुत किए गए थे) दोंनो गायब मिले।
जिस पर पंजिकरण लिपिक को सन्देह हुआ तो उसने एक्सिस बैंक, मुख्य शाखा, जीन्द के कर्मी श्री विनय कुमार का सम्पर्क सुत्र जुटा दुरभाष पर इस बारे अवगत कराया और फिर मुझे भी उक्त सम्पूर्ण घटना बारे अवगत करवाया। जिस पर सज्ञांन लेते हुए मैंने बैंक कर्मी को उक्त रिंकू को मौका पर बुलाने के लिए कहा तो बैंक कर्मी ने बताया की उसकी रिंकू से बात हो गई है और वह जीन्द शहर में एक्सिस बैंक मुख्य शाखा के सामने दस्तावेज ले आयेगा। जिसपर मैं और पंजिकरण लिपिक तुरन्त नारनींद से जीन्द पंहुंचे। परन्तु काफी प्रतिक्षा करने के बाद भी रिंकू हाजिर ना आया और ना ही फोन उठा रहा था, तो मैंने रिंकू के आधार कार्ड में वर्णित पता पर जाने का फैसला किया।
उसके बाद एक्सिस बैंक के कर्मचारी रोहित को बुलाया गया जिसने लोन देने के लिए फाईल तैयार करने से पहले प्रार्थी रिंकू के घर पर जाकर वैरिफिकेशन की थी। यह पूरी कार्यवाही करते हुए रात होने के कारण पंजिकरण लिपिक द्वारा डायल 112 जीन्द को कॉल करके बताया कि रिकू नाम के व्यक्ति ने तहसील कार्यालय नारनींद में जमा करवाये जाने वाले दस्तावेज उठा लिए है और वापिस नही दे रहा है, इसलिए उसके घर पर जाकर कागज लेकर आना है। डायल 112 टीम के मौके पर पंहुंचने के बाद बैंक के कर्मचारियों के साथ उसके घर पहुंचे।
जहां उसके परिवार के सदस्य (माता, पिता, भाई एवं भाभी) ने रिंकू को फोन कर बताया कि वह घर आकर तहसील ते चोरी किए हुए दस्तावेज लौटा दे। परन्तु उक्त रिकू द्वारा लगभग 70-80 मिनट तक बहाने बनाए कि वह दस्तावेज लौटाने के लिए 5-10 मिनट तक आ रहा है। परन्तु वह घर नहीं पहुँचा। जिस पर डायल 112 टीम द्वारा उक्त रिंकू की लोकेशन प्राप्त की गई। इसी बीच रिंकू के पिता श्री जयभगवान ने बताया कि रिंकू रोहतक रोड, जीन्द पर रहने वाले किसी प्रवीन (चशमे वाला) के सम्पर्क में था, जिसनें रिंकू को ऋण दिलाने का भरोसा दिया था और ऋण मिलने पर ऋण मूल्य का कमीशन लेने की बात भी कही थी।
लोकेशन मिलने पर हम सभी नई सब्जी मंडी, जीन्द के पास लोकेशन पर पहुँचे। जहाँ रिंकू नही मिलने पर उसकी दोबारा लोकेशन निकलवाई गई जो कि बारी-बारी बदल रही थी। रात्री के लगभग 11:00 बजे उक्त तलाशी अभियान को बीच में ही स्थगित करना पड़ा। उसी रात लगभग समय 11:45 बजे हम नारनौंद वापिस आए और उक्त रिंकू व उसके सहयोगी प्रवीन (चशमे वाला) व अन्य सलिंप्त अज्ञात सभी व्यक्तियों के खिलाफ कानूनी कार्यवाही करवाने हेतू एफ०आई०आर० दर्ज करवाने का फैसला लिया।