Rich Families Became Poor : संपन्न परिवार भी राशन लेने के लिए बने गरीब, 10 हजार से ज्यादा बीपीएल राशन कार्ड कटे

By sunilkohar

Updated On:

Follow Us
---Advertisement---

Even rich families became poor to get ration, more than 10 thousand BPL ration cards were cancelled

263025 में से अपात्र पाए गए हजारों लाभार्थी, आलीशान कोठी, कार, विदेश से आय के बावजूद उठा रहे थे गरीबों की योजनाओं का लाभ

सरकारी योजनाओं का लाभ उठाने के लिए साधन संपन्न परिवारों ने खुद को ‘गरीब’ दिखा रखा था, तब ताकि गरीबों को मिलने वाला राशन व अन्य सुविधाएं उनको भी मिल सके। लेकिन सच्चाई सामने आने पर अब धीरे-धीरे उनका पर्दाफाश हो रहा है। कुछ परिवार तो ऐसे हैं जिन्होंने अपना सब कुछ एक व्यक्ति के नाम दिखाकर अन्य व्यक्ति अलग राशन कार्ड बनवाकर सरकारी योजनाओं का लाभ उठा रहे हैं।

बी.पी.एल. (गरीबी रेखा से नीचे) सूची में शामिल ऐसे ही 10 हजार से ज्यादा परिवारों के कार्ड जिला प्रशासन द्वारा काट दिए गए हैं। ये कार्ड अपात्र पाए गए हैं क्योंकि जांच में इन परिवारों के पास आलीशान – मकान, चारपहिया वाहन, विदेश से आय या अन्य आर्थिक साधन मिले हैं, जिनके आधार पर वे बीपीएल सूची में आने के पात्र नहीं थे।

जिले में बी. पी.एल. कार्डधारकों की कुल संख्या 2,63,025 है, जो अब घटकर लगभग 2,53,000 रह गई है। इस प्रकार प्रशासन ने लगभग 4 प्रतिशत कार्ड धारकों को सूची से बाहर कर दिया है।

 

समीक्षा में मिला गड़बड़ी का जाल

प्रशासन ने बीपीएल सूची की पुनर्समीक्षा के दौरान पाया कि हजारों लाभार्थी खुद को गरीबी रेखा से नीचे बता रहे थे, लेकिन व्यवहार में वे पूरी तरह साधन संपन्न थे। जांच के बाद करीब 10 हजार कार्डों को रद्द कर दिया गया। अब इन परिवारों से योजनाओं के तहत मिले लाभों की भी वसूली की जा सकती है।

एक साल में 45 हजार कार्डों की समीक्षा

पिछले एक साल में प्रशासन ने करीब 45 हजार बी.पी.एल. कार्डों की समीक्षा की, जिनमें से अनेक कार्ड अपात्र पाए गए। ये वे परिवार थे जिनकी स्थिति आर्थिक रूप से मजबूत पाई गई। विभाग के अधिकारियों का कहना है कि जांच का यह सिलसिला आगे भी जारी रहेगा और अपात्र लोगों को सूची से बाहर किया जाएगा।

 

वास्तविक पात्रों को मिलेगा लाभ

खाद्य आपूर्ति विभाग और सामाजिक व्याय विभाग के अधिकारियों ने बताया कि अब बी. पी. एल. सूची को डिजिटल तरीके से लिंक किया जा रहा है। परिवार पहचान पत्र (पीपीपी) के जरिए आय, संपत्ति और परिवार की वास्तविक स्थिति का आकलन कर सही लाभार्थियों को योजनाओं का लाभ दिया जाएगा। जिन लोगों ने गलत जानकारी दी है, उन पर कानूनी कार्रवाई भी की जा सकती है।

परिवारों ने फैमिली आईडी की खामियों को बताया था कारण

जिन परिवारों के बी.पी. एल. कार्ड काटे गए हैं, उनमें से अधिकतर ने परिवार पहचान पत्र में खामियों को जिम्मेदार बताते हुए सरकार की कार्रवाई को खुद के साथ ज्यादती करार दिया है। पिछले दिनों इस संबंधित बहुत से प्रभावित परिवारों ने ए.डी. सी. कार्यालय के बाहर विरोध प्रदर्शन भी किया था और ज्ञापन भी सौंपा था, लेकिन उनकी सुनवाई नहीं हुई है। जिन परिवारों के कार्ड काटे गए हैं, उनका कहना है कि कागजों में उनके यहां महंगी गाड़ियां दिखाई गई हैं, लेकिन उनके पास बाइक तक नहीं है।

3500 से ज्यादा परिवारों ने दिखाई थी शून्य आय

बीपीएल सर्वे के दौरान 3500 परिवारों ने अपनी सालाना आय शून्य दिखाई थी, लेकिन जब वास्तविक जांच हुई तो इनमें से कई परिवारों के पास महंगी कार, दो मंजिला मकान, और बैंक खातों में जमा राशि मिली। कई लोगों की आय विदेश से आ रही थी, कुछ के नाम पर बिजनैस भी थे। इसके बावजूद ये लोग बी.पी.एल. सूची में शामिल होकर मुफ्त राशन, छात्रवृत्ति, इलाज, उज्ज्वला गैस कनैक्शन जैसी योजनाओं का लाभ उठा रहे थे।


Discover more from Abtak Haryana News - अब तक हरियाणा न्यूज़

Subscribe to get the latest posts sent to your email.

Join WhatsApp

Join Now

Join Telegram

Join Now

Free Haryana News Mobile APP

Download APP Link

Related Posts

Leave a Comment

Discover more from Abtak Haryana News - अब तक हरियाणा न्यूज़

Subscribe now to keep reading and get access to the full archive.

Continue reading